दुनिया के कई देश जहां एक बार फिर से कोरोना से जूझ रहे हैं, वहीं दक्षिण कोरिया में एक नई बीमारी ने दस्तक दी है। यह नई बीमारी गंभीर चिंता का कारण बन गई है। दरअसल इस बीमारी में अमीबा दिमाग में घुसकर इसको खा जाता है। एक व्यक्ति की ‘प्राइमरी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस’ (PAM) बीमारी की वजह से मौत हुई है जो नेग्लरिया फाउलेरी नामक ब्रेन-ईटिंग अमीबा की वजह से फैलती है।
इस अमीबा का वैज्ञानिक नाम नेग्लरिया फाउलेरी है। इससे पूरे साउथ कोरिया में लोगों के बीच डर फैल गया है। हालांकि यह नई बीमारी नहीं है, 50 के दशक में पहला शख्स इसका शिकार हुआ था। वहीं हाल ही में दक्षिण कोरिया के जिस शख्स की मौत हुई है वो कई महीने थाईलैंड रहकर देश में लौटा था। 10 दिसंबर में उसकी मौत हुई।
क्या है ये बीमारी
यह बीमारी ब्रेन ईटिंग अमीबा की वजह से होती है जो मिट्टी के अलावा झीलों, नदियों और झरनों जैसे गर्म मीठे पानी के स्रोतों में पाया जाता है। यह पानी के जरिए व्यक्ति के शरीर में प्रवेश कर सकता है। नेग्लरिया फाउलेरी अमीबा के कारण होने वाली बीमारी को ‘प्राइमरी अमीबिक मेनिंगोएन्सेफलाइटिस’ (PAM) कहा जाता है जिसे व्यापक रूप से जानलेवा माना जाता है क्योंकि साल 1962 से 2021 तक अमेरिका में इस संक्रमण से प्रभावित हुए 154 लोगों में केवल चार लोग ही जीवित बच पाए थे।
बीमारी के लक्षण
नाइग्रीलिया फॉलेरी अमीबा से संक्रमित होने के 1 दिन से लेकर 12 दिन के बीच लक्षण दिखने शुरू हो सकते हैं। इस बीमारी के लक्षणों के दो सेट होते हैं
पहला चरण
सिर के आगे हिस्से में तेज दर्द
बुखार
मतली और उल्टी आना
दूसरा चरण
गर्दन में अकड़न
दौरा पड़ना
मानसिक तौर पर असंतुलन और हैलुसिनेशन्स (भ्रम) जैसे लक्षण
गंभीर मामलों में मरीज कोमा में भी जा सकता है