मालवीय नगर थाने के एक कमरे में चार निर्दोष लोगों को बंद कर उनकी बेरहमी से बेल्ट और डंडे से पिटाई करने और पीड़ितों पर झूठा केस लगाने के मामले में आरोपी सब इंस्पेक्टर नरेन्द्र को लाइन हाजिर कर दिया गया है। हिन्दुस्तान समाचार पत्र में प्रमुखता से खबर प्रकाशित किए जाने के बाद पुलिस अधिकारियों ने मामले में संज्ञान लिया और कार्रवाई की। इतना ही नहीं आरोपी एसआई के खिलाफ चल रही विभागीय जांच के रिपोर्ट के आधार पर उसके खिलाफ आगे भी जल्द ही जरूरी कार्रवाई किए जाने का बात कही गई है।
क्या है मामला…
मालवीय नगर इलाके में इसी साल 18 मार्च को चिराग दिल्ली में रहने वाले दो लोगों के बीच गाड़ी के मामूली टक्कर के बाद झगड़ा और मारपीट हो गया था। जिसकी शिकायत थाने में पहुंच गई थी। इस मामले में एसआई नरेन्द्र को केस आईओ बनाया गया था। दावा है कि इस मामले में उक्त पुलिसकर्मी केस दर्ज नहीं करने के लिए 75 हजार रुपए की मांग कर रहा था। जिसके बाद दूसरे दिन दोनों पक्ष के लोगों ने साथ बैठकर झगड़ा खुद ही सुलझा लिया और आपसी सहमति से केस को निरस्त करने के लिए चार अन्य लोगों के हाथों सुलहनामा लिखकर मालवीय नगर थाने में भेज दिया।
आरोप है कि सुलहनामे की बात सुनते ही आरोपी एसआई नरेन्द्र भड़क गया और सुलहनामा लेकर पहुंचे चारों लोगों को उनकी गाड़ी से खींचकर थाने के कमरा नंबर-115 में ले गया। जहां बेल्ट और डंडों से चारों को इतनी बेरहमी से पीटा गया कि उनके पूरे शरीर पर चोट के कई निशान बन गए। घटना के बाद चारों पीड़ितों मंदीप, सतीश, कुलभूषण और अतुल को मेडिकल कराने के लिए अस्पताल भेजा गया। लेकिन वहां जाने से पहले पुलिसकर्मी ने सभी को घटना के बारे में अस्पताल में नहीं बताने को लेकर धमकी भी दी।
आरोपी के खिलाफ विभागीय जांच जारी है
पुलिस के एक अधिकारी ने बताया कि आरोपी एसआई के खिलाफ दो डिपार्टमेंटल एन्क्वायरी की जा रही है। जिसके रिपोर्ट के आधार पर उसके खिलाफ आगे की कार्रवाई की जाएगी।