असली नोटों के बदले नकली नोट थमाकर ठगी की वारदातों को अंजाम देने वाले गिरोह का खुलासा करते हुए इंदौर में पुलिस ने बुधवार को दो लोगों को धर दबोचा। पुलिस के मुताबिक यह गिरोह असली नोटों के बदले ज्यादा रकम देने का लालच देकर लोगों को चूना लगाता था।
अतिरिक्त पुलिस आयुक्त राजेश हिंगणकर (अपराध निरोधक शाखा) ने बताया कि गिरफ्तार आरोपियों की पहचान सौरभ गुप्ता और दिलीप मुले के रूप में हुई है। हिंगणकर ने बताया कि गिरोह के सदस्य ठगी के दौरान खुद को एक पारमार्थिक ट्रस्ट के एजेंट बताते थे। उन्होंने बताया, ‘वे (आरोपी) लोगों से कहते थे कि ट्रस्ट को 10, 20, 50 और 100 रुपये के नोटों के बदले 500 और 2,000 रुपये के बड़े नोटों की जरूरत है। वे उनके जाल में फंसे लोगों को झांसा देते थे कि ट्रस्ट नोटों की इस अदला-बदली पर उन्हें 10 प्रतिशत कमीशन अदा करेगा।’
पुलिस जांच में जुटी
हिंगणकर ने बताया कि गिरोह असली नोटों के बदले शहर के एक शख्स को पांच लाख रुपये के नकली नोट और एक अन्य व्यक्ति को 30 लाख रुपये के नकली नोट थमाकर चूना लगा चुका है। अतिरिक्त पुलिस आयुक्त ने बताया कि गिरोह के खिलाफ विस्तृत जांच की जा रही है।