मध्य प्रदेश के जबलपुर स्थित चोराई गांव में बीती रात आदिवासी दंपति की आग में जिंदा जलने से मौत हो गई। घटना के बाद से पूरे गांव में मातम पसरा है। सूचना के बाद बरगी थाना पुलिस मौके पर पहुंची और घटना की जांच में जुट गई है।
सूचना मिलते ही पहुंची पुलिस
पुलिस ने बताया कि आज सुबह सूचना मिली कि ग्राम चौरई में खेत में बनी झोपड़ी में आग लगने के कारण 60 वर्षीय सुमेर सिंह कुलस्ते एवं उनकी पत्नी 55 वर्षीय सिया बाई की आग से जलकर मौत हो गई है। दोनों के शव एक साथ जली हुई हालत में झोपड़ी में पड़े हैं। सूचना मिलते ही बरगी टीआई रितेश पांडे पुलिस बल के साथ मौके पर पहुंचे। वहां घास-फूस से बनी झोपड़ी जली हुई थी और सुमेर व उसकी पत्नी सिया बाई के जले हुए शव पड़े थे।
ऐसे हुआ घटना का खुलासा
बताया जा रहा है घटना का खुलासा आज सुबह उस वक्त हुआ जब खेत में बंधे जानवर की रस्सी कटी हुई मिली। यह जानवर गांव के भीतर घूम रहे थे। जानवरों को गांव में घूमता देख मृतक बुजुर्गों के परिजन खेत में पहुंचे। उन्होंने यहां देखा कि झोपड़ी जली हुई है और उसी में दोनों बुजुर्ग मृत अवस्था में पड़े हुए हैं।
आखिर कैसे लगी आग
बरगी टीआई रितेश पांडे ने बताया कि जिस झोपड़ी में सुमेर एवं सिया भाई सो रहे थे। वह पूरी तरह से घास-फूस से बनी हुई थी। वहीं पर एक चूल्हा भी जल रहा था। झोपड़ी में बिजली की लाइन से तार खींचकर लाइट भी लगाई गई है। अब आग शॉर्ट सर्किट से लगी, चूल्हे से लगी या फिर किसी ने जानबूझकर झोपड़ी में आग लगाई है इन बिंदुओं पर पुलिस जांच कर रही है। खेत में बंधे जानवरों की रस्सी कटे होने से भी शक पैदा हो रहा है।