संसद का शीतकालीन सत्र आज से शुरू हो रहा है। इस बीच, सिख फॉर जस्टिस द्वारा किसानों से संसद का घेराव करने और आज वहां ‘खालिस्तानी’ झंडा फहराने की अपील करते हुए एक ऑनलाइन वीडियो जारी करने के बाद खुफिया एजेंसियों ने अलर्ट जारी किया है। दिल्ली पुलिस और अन्य एजेंसियों को खुफिया एजेंसियों द्वारा सजग और अलर्ट रहने के लिए कहा गया है।
किसानों के आंदोलन को देखते हुए संसद की सुरक्षा बढ़ा दी गई है। किसानों ने स्पष्ट कर दिया है कि वह कृषि कानून वापस लेने, एमएसपी को कानूनी गारंटी देने सहित अपनी सभी मांगें पूरी होने तक दिल्ली की सीमाओं से नहीं हटेंगे।
जानकारी के अनुसार, सोमवार 29 नवंबर से शुरू होने वाला शीतकालीन सत्र 23 दिसंबर तक चलेगा और इस दौरान 20 बैठकें होंगी। पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव से पहले होने वाले संसद सत्र को राजनीतिक लिहाज से बेहद महत्वपूर्ण माना जा रहा है। दोनों ही पक्ष इस मौके को अपनी अपनी तरह से भुनाने के लिए हर तरह का हथकंडा अपनाने से पीछे नहीं हटेंगे। कोरोना महामारी के कारण पिछले वर्ष शीतकालीन सत्र नहीं हो सका था, लेकिन इस बार इसे कोरोना प्रोटोकाल का ध्यान रखते हुए बुलाया गया है।
संसद का शीतकालीन सत्र हंगामेदार होने के आसार
संसद के शीतकालीन सत्र के लिए सरकार तथा विपक्ष ने अपनी-अपनी रणनीति बना ली है और भले ही सरकार ने तीनों विवादित कृषि कानूनों को वापस लेने का ऐलान कर विपक्ष को मुद्दों से निहत्था करने का ब्रह्मास्त्र चला दिया हो, लेकिन विपक्ष के तीखे तेवरों को देखते हुए उसके लिए संसद सत्र को सुचारू ढंग से चलाना आसान नहीं होगा। संसद सत्र के मद्देनजर पिछले कुछ दिनों से सत्ता और विपक्ष के गलियारों में राजनीतिक सरगर्मियां जोरों पर हैं और जहां विपक्ष विभिन्न मुद्दों पर सरकार को घेरने की तैयारियों में जुटा है वहीं सरकार विपक्ष के हमलों को नाकाम करने वाले सभी तीर अपने तरकश में जुटाने में लगी है।
चार लाख ट्रेक्टरों के साथ प्रदर्शन कर सकते हैं किसान : टिकैत
भारतीय किसान यूनियन (बीकेयू) के नेता राकेश टिकैत ने रविवार को मुंबई में कहा कि अगर सरकार न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) पर कानून लाने में विफल रहती है तो किसान अगले गणतंत्र दिवस पर अपने चार लाख ट्रैक्टरों के साथ विरोध प्रदर्शन कर सकते हैं। टिकैत ने कहा कि 26 जनवरी दूर नहीं है तथा सरकार को किसानों से बात करनी चाहिए और जल्द से जल्द एमएसपी पर कानून लाना चाहिए। उन्होंने केंद्र की भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नीत सरकार को को बेईमान और धोखेबाज बताया और एमएसपी पर लड़ाई जारी रखने का संकल्प लेते हुए आगामी सभी विधानसभा चुनावों में भाजपा की हार का आह्वान भी किया। उन्होंने लखीमपुर खीरी हिंसा को लेकर बिजली संशोधन विधेयक को वापस लेने और केंद्रीय मंत्री अजय मश्रिा की गिरफ्तारी जैसी अन्य मांगों को भी दोहराया। टिकैत मुंबई के आजाद मैदान में आयोजित ‘महापंचायत’ में शामिल होने पहुंचे थे।







