रोहिणी कोर्ट शूटआउट में शामिल चार आरोपियों में से तीन ने गैंगस्टर जितेंद्र मान उर्फ गोगी की हत्या के बाद जज के सामने आत्मसमर्पण करने की योजना बनाई थी। सूत्रों ने बताया कि गोगी को मारने की साजिश कुछ दिन पहले ही रची गई थी और इस मामले में शामिल शूटरों को 15 सितंबर को दिल्ली की मंडोली जेल से गोगी को मारने के लिए बुलाया गया था।
शूटआउट वाले दिन चारों हमलावर एक मॉल में मिले और वहां से कोर्ट के लिए निकल गए। हालांकि, हमलावरों में से एक को अपने साथी उमंग के साथ अदालत के बाहर इंतजार करना पड़ा क्योंकि वह ढंग से वकील के वेश नहीं था।
कोर्ट रूम में मौजूद वकीलों के वेश में दो हथियारबंद बदमाशों ने शुक्रवार को गैंगस्टर जितेंद्र गोगी की गोलियों से भूनकर हत्या कर दी थी। इसके बाद गोगी को एस्कॉर्ट कर रहे पुलिस कर्मियों ने जवाबी कार्रवाई करते हुए दोनों हमलावर मौके पर ही ढेर कर दिया।
अदालत के बाहर खड़े अन्य दो आरोपी गोलीबारी के बाद से मौके से फरार हो गए थे। हालांकि, पुलिस ने शूटआउट मामले में शामिल दो आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। गिरफ्तार आरोपियों की पहचान उमंग और विनय के रूप में हुई है। विनय आरोपी व्यक्तियों के लिए वकील के कपड़ों की व्यवस्था करने में शामिल था। एक आरोपी जो वकील के वेश में ठीक से नहीं था और अदालत के बाहर उमंग के साथ खड़ा था, वह अभी भी फरार है।
गिरफ्तारी के बाद पुलिस की पूछताछ में उमंग ने खुलासा किया कि उसे टिल्लू ताजपुरिया नाम के एक व्यक्ति का फोन आया, जिसने गोगी पर गोलीबारी की योजना बनाई थी। उसने बताया कि उमंग और विनय चचेरे भाई हैं।