वैशाली में जहरीली शराब से मरने वालों की संख्या पांच हो गई है। राघोपुर दियारा इलाके में जहरीली शराब से बुधवार की रात तीन लोगों की मौत हो गई थी। चार लोग गंभीर थे। अब भी दो लोग जिंदगी और मौत से जूझ रहे हैं। दोनों का इलाज एनएमसीएच में चल रहा है। हादसे ने बिहार सरकार की शराबबंदी योजना की धज्जियां उड़ा दी हैं।
घटना के बाद प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मचा है। यह मामला स्कूल परिसर में शराब और मछली-भात की पार्टी से जुड़ा है। पूरे घटनाक्रम को लेकर ग्रामीणों में आक्रोश है और इसके विरोध में ग्रामीणों ने बुधवार को पुलिस के खिलाफ प्रदर्शन भी किया था। ग्रामीणों के मुताबिक इस इलाके में धड़ल्ले से देसी शराब का धंधा चल रहा है और शिकायत करने पर भी कार्रवाई नहीं होती है। इसका नतीजा है कि 7 लोग जहरीली शराब से बीमार पड़े। एक-एक कर 5 लोगों की अब तक मौत हो चुकी है।
घटना की जानकारी मिलने पर बुधवार को घटनास्थल पर पहुंचे सदर एसडीपीओ राघव दयाल ने बताया की कुछ लोगों ने शराब पार्टी की थी। जांच के बाद ही किसी नतीजे पर पहुंचा जा सकेगा। उन्होंने कहा कि ग्रामीणों के मुताबिक जो लोग शराब पार्टी में शामिल थे, उन्हीं लोगों में से एक साथ 7 लोग बीमार पड़े। बगैर पुलिस को सूचना दिए चोरी छिपे इनका इलाज कराया जा रहा था। इसी दौरान जब दो युवकों की मौत हो गई तो कोहराम मच गया। उसके बाद पुलिस ने बाकी 5 बीमार लोगों को ढूंढ निकाला, जिन्हें बेहतर इलाज के लिए पटना भेजा गया।
ग्रामीणों के मुताबिक मंगलवार की शाम चक सिंगार के दलित बस्ती स्थित नवसृजित प्राथमिक विद्यालय परिसर में दारू और मछली की पार्टी आयोजित की गई। इसमें 10 लोग शामिल हुए थे। वैशाली एसपी मनीष ने बताया कि पूरे मामले पर पुलिस की नजर है और इसमें जो लोग शामिल हैं, उनके खिलाफ कड़ी कार्रवाई के लिए छापेमारी अभियान चलाई जा रही है। हालांकि, उन्होंने अभी तक जहरीली शराब से लोगों की मौत होने की अधिकारी पुष्टि नहीं की। उन्होंने कहा कि जहरीली शराब से लोगों की मौत होने से इनकार भी नहीं किया जा सकता लेकिन सब कुछ पोस्टमार्टम रिपोर्ट और फॉरेंसिक जांच रिपोर्ट पर निर्भर है।