देश का किसान लंबे समय से देशभर में अपने हक के लिए संघर्ष कर रहा है। इस आंदोलन की वजह से कई बार तनाव की स्थिति भी बनती है। इस बीच नागौर जिले से बड़ा ही सुकून देने वाला मामला सामने आया है। यहां एक साहूकार के 6 बेटों ने 18 साल पहले 50 हजार रुपए में गिरवी रखी गई 17 बीघा जमीन किसान को वापस लौटा दी, जिसे गरीब किसान ने साहूकार के पिता के पास गिरवी रख हुई थी। इसकी कीमत आज 40 लाख रुपये से अधिक है।
18 साल पहले गिरवी रखी थी जमीन
जिले में भादवा गांव के साहूकार किसान दुर्गालाल सैन के पास साल 2003 में गांव के गणपतराम चौकीदार ने 50 हजार रुपए कर्ज के बदले अपनी 17 बीघा जमीन गिरवी रख दी थी। गरीबी के चलते किसान कर्ज नहीं चुका पाया। कर्ज लेने के लंबे समय बाद किसान लगभग अपनी जमीन पाने की आस छोड़ चुका था। अब हाल ही में साहूकार दुर्गालाल इस दुनिया से विदा हो गए। बेटों को दुर्गालाल की स्थिति पता थी। ऐसे में उन्होंने ये फैसला किया।
किसान की गरीबी देख 6 भाइयों ने जमीन लौटाने का किया फैसला
गरीब किसान गणपतराम चौकीदार की आर्थिक स्थिति को देखते हुए साहूकार दुर्गालाल के 6 बेटों बाबूलाल, ओमप्रकाश, राजूलाल, कैलाशचंद, हनुमान प्रसाद व सुरेश सैन ने वह फैसला लिया जो आज पूरे देश के लिए मिसाल बन गया है। क्योंकि जहां देश का किसान सड़कों पर है, वहीं हाल ही में इन 6 भाइयों ने गिरवी रखी हुई 17 बीघा जमीन बिना एक पैसा लिए ही गरीब किसान गणपतराम को वापस की है। जमीन वापस मिलने पर गणपतराम और उनका परिवार काफी खुश है।
अगर जमीन वापस नहीं करते तो भूखा मर जाता किसान का परिवार
जमीन लौटाने वाले दुर्गालाल के बड़े बेटे बाबूलाल कहते हैं कि आज किसानों की हालत देश में हम सभी देख रहे हैं। सरकार उनकी मदद को आगे नहीं आ रही। वह खुद भी एक किसान हैं और अपने भाई बंधुओं का दर्द समझते हैं। उनका कहना है कि गणपतराम का परिवार बेहद गरीब है। अगर उनके पास जमीन नहीं रहती, तो शायद भविष्य में यह परिवार भूखों मरने की कगार पर आ जाता। उन्होंने इस संबंध में पहले अपने परिवार से बातचीत की और फिर जमीन वापस लौटाने का फैसला कियाा। उन्होंने कहा कि उनका परिवार कभी किसी की संपत्ति को अपने पास रखने का पक्षधर नहीं है।