अमेरिका में पिछले साल हुए राष्ट्रपति चुनाव में रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन की भूमिका को लेकरआई खुफिया रिपोर्ट ने लोगों को चौंका दिया है। नेशनल इंटेलिजेंस के डायरेक्टर के ऑफिस की ओर से जारी रिपोर्ट में कहा गया है कि पुतिन ने अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव के दौरान डोनाल्ड ट्रंप के समर्थन में प्रचार अभियान चलाने में मदद का आदेश दिया था। हालांकि, वे उन्हें जिताने में कामयाब नहीं हो सके।
खुफिया रिपोर्ट में इन लोगों में से किसी का नाम तो नहीं लेकिन पूर्व राष्ट्रपति ट्रम्प के पर्सनल एटर्नी रूडी गिउलिआनी उनमें से हो सकते हैं। दरअसल वे उस समय रूसी एजेंटों से संपर्क में थे, जब उन्होंने तत्कालीन राष्ट्रपति पद के उम्मीदवार जो बिडेन को उनके बेटे हंटर बिडेन के एक यूक्रेनी कंपनी के साथ व्यावसायिक संबंधों से जुड़े एक अनैतिक भ्रष्टाचार घोटाले में फंसाने का प्रयास किया।
वहीं रिपोर्ट के अनुसार रूस से उलट ईरान ने ट्रंप के समर्थन को कम करने के लिए ‘कई तरह के गोपनीय अभियान’ चलाए थे। बता दें कि ट्रंप ने राष्ट्रपति रहने के दौरान ईरान पर अधिकतम दबाव बनाने की नीति का पालन किया था। उन्होंने ईरान के खिलाफ कई प्रतिबंध लगाए थे जिससे दोनों देशों के बीच जुबानी जंग तेज हो गई थी। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि चुनाव के दौरान चीन ने कोई भूमिका नहीं निभाई।
गौरतलब है, कि साल 2016 में हुए अमेरिकी राष्ट्रपति चुनाव में भी रूस पर नतीजों को प्रभावित करने का आरोप लग चुका है। पिछले साल ये मुद्दा सुर्खियों में छाया रहा था। कुछ रिपोर्ट्स में दावा किया गया था कि 2016 में ट्रंप के राष्ट्रपति बनने में रूस का बड़ा हाथ था। वहीं, एक अन्य खुफिया रिपोर्ट में कहा गया कि चीन बाइडेन को राष्ट्रपति बनता हुआ देखना चाहता था। इस रिपोर्ट में भी कहा गया कि रूस ट्रंप को एक बार फिर राष्ट्रपति बनाने के लिए कोशिश कर रहा था।
इधर, खबर है कि अमेरिका 2020 के राष्ट्रपति चुनाव में कथित तौर पर हस्तक्षेप करने के कारण रूस पर अगले सप्ताह प्रतिबंध लगाने की घोषणा कर सकता है। सीएनएन ने अपनी एक रिपोर्ट में अज्ञात सूत्रों के हवाले से मंगलवार को इस बात की जानकारी दी। रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिका राष्ट्रपति चुनाव में हस्तक्षेप करने के कारण अगले सप्ताह रूस के खिलाफ प्रतिबंध लगाने की घोषणा कर सकता है।