बंगाल विधानसभा चुनाव की मुनादी के साथ ही सबकी निगाहें उस नंदीग्राम के महासंग्राम पर टिकी हैं, जहां माना जा रहा है कि पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और भाजपा के शुभेंदु अधिकारी के बीच सीधी लड़ाई होगी। हालांकि, अब तक भाजपा ने आधिकारिक तर पर इस बात की घोषणा नहीं कि है कि शुभेंदु अधिकारी को नंदीग्राम से लड़ाया जाएगा या नहीं। इस बीच शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि अगर पार्टी उन्हें ममता बनर्जी के खिलाफ नंदीग्राम में नहीं उतारती है तो भी वह वहां से टीएमसी सुप्रीमो की हार सुनिश्चित करेंगे। बता दें कि नंदीग्राम को अधिकारी परिवार का गढ़ माना जाता है।
इंडिया टूडे के मुताबिक, दिल्ली यात्रा से पहले शुभेंदु अधिकारी ने कहा कि पार्टी मुझे नॉमिनेट करती है या नहीं, मगर मैं ममता बनर्जी को नंदीग्राम में हराऊंगा, यह मेरी जिम्मेदारी है। बता दें कि शुभेंदु अधिकारी ने टीएमसी के विधायक के रूप में कई बार नंदीग्राम का प्रतिनिधित्व किया है। इस बार पहला मौका होगा, जब वह टीएमसी के खिलाफ ही भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ते दिखाई दे सकते हैं। बता दें कि ममता बनर्जी ने नंदीग्राम से चुनाव लड़ने की खुली चुनौती दी थी।
ममता बनर्जी का नंदीग्राम सीट से चुनाव लड़ना तय माना जा रहा है, मगर अब तक भाजपा ने शुभेंदु अधिकारी के नाम पर फैसला नहीं लिया है। हालांकि, आज माना जा रहा है कि भाजपा यह दांव खेल सकती है। 2019 के लोकसभा चुनावों में भाजपा बंगाल की 42 में से 18 सीटें जीतकर राज्य में मुख्य प्रतिद्वंद्वी के रूप में उभरी थी। इतना ही नहीं, ममता बनर्जी के 10 साल के शासन को समाप्त करने के लिए बीजेपी ने बंगाल चुनावों में 200 से अधिक सीटें जीतने का लक्ष्य रखा है।
पश्चिम बंगाल भाजपा के अध्यक्ष दिलीप घोष ने बुधवार को कहा कि पार्टी की राज्य इकाई ने राज्य में चुनाव के शुरुआती दो चरणों के लिए प्रति सीट औसतन 4-5 नामों को शॉर्टलिस्ट किया है और 4 मार्च को उन चरणों के उम्मीदवारों की सूची को अंतिम रूप दिया जाएगा। बता दें कि बंगाल में 27 मार्च से वोटिंग शुरू होगी और नतीजे 2 मई को आएंगे। बंगाल में आठ चरणों में चुनाव हैं।