भीमा कोरेगांव केस में बॉम्बे हाई कोर्ट ने तेलुगु कवि वरवर राव को जमानत दे दी है। उच्च न्यायालय ने राव को 6 महीने की जमानत दी है। बॉम्बे हाई कोर्ट ने उन्हें मेडिकल कारणों से यह राहत दी है, लेकिन उन्हें मुंबई से बाहर जाने की अनुमति नहीं दी गई है। उन्हें शहर में ही रहना होगा और किसी भी वक्त जांच के लिए एजेंसियों के समक्ष पेश होना होगा।
दरअसल वरवर राव पर माओवादियों से सांठगांठ के आरोप हैं और वह 2018 में पुणे में रजिस्टर हुए एल्गार परिषद केस में जेल में बंद हैं। उनकी याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस एसएस शिंदे और मनीष पिटाले की अदालत ने फैसला सुरक्षित रख लिया था। 81 वर्षीय वरवर राव की पत्नी ने भी उनकी बेल की मांग करते हुए याचिका दायर की थी और कहा था कि उन्हें जमानत न दिया जाना मूल अधिकारों के उल्लंघन जैसा है।