दिल्ली में कड़ाके की ठंड के बीच पिछले सवा महीने से कृषि कानूनों के खिलाफ किसानों का आंदोलन जारी है। बारिश और ठंड के बीच दिल्ली की सीमाओं पर डटे किसानों की आज एक बार फिर से सरकार के साथ बैठक हुई। अब अगली बैठक 8 जनवरी को होगी।बता दें कि पिछली बातचीत में सरकार ने किसानों की दो बातें मान ली थी- बिजली संशोधन विधेयक 2020 और पराली जलाना जुर्म नहीं। फिलहाल, किसान संगठन के नेता विज्ञान भवन पहुंच चुके हैं और कुछ देर में वार्ता शुरू होगी।
किसानों-सरकार की बातचीत खत्म
किसानों और सरकार के बीच सोमवार दोपहर से चल रही बैठक खत्म हो गई। एक बार फिर से आठ जनवरी को बैठक होगी। किसान नेता राकेश टिकैत ने कहा कि कानूनों की वापसी के अलावा कुछ भी मंजूर नहीं है।
नहीं रद्द कर सकते कृषि कानून: सरकार
किसान नेताओं और सरकार के मंत्रियों के बीच हो रही सातवें दौर की बातचीत के दौरान सरकार ने दो टूक कहा है कि वह तीनों कृषि कानूनों को रद्द नहीं कर सकती है।
किसान और सरकार में बातचीत से पहले केजरीवाल का ट्वीट
सरकार और किसानों के बीच बातीचीत से पहले दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने ट्वीट किया है। उन्होंने लिखा- ‘ठंड और बारिश के बीच सड़कों पर डटे हमारे किसानों के हौंसले को सलाम। मेरी केंद्र सरकार से अपील है कि आज की बैठक में किसानों की सारी मांगें मानते हुए तीनों काले कानून वापस लिए जाएं।
विज्ञान भवन पहुंचा किसानों का प्रतिनिधिमंडल
कृषि कानूनों पर सरकार से बातचीत के लिए किसान नेताओं का एक प्रतिनिधिमंडल विज्ञान भवन पहुंचा। एक किसान नेता ने कहा कि हमें उम्मीद है कि नए साल में इस बैठक में एक सफलता मिलेगी
वार्ता से पहले बोले तोमर- सभी मुद्दों पर करेंगे चर्चा
किसानों के साथ आज की वार्ता से पहले केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने कहा कि मुझे उम्मीद है कि हम आज एक सकारात्मक समाधान पाएंगे। हम बैठक में सभी मुद्दों पर
बातचीत के लिए रवाना हुए किसान संगठन के नेता
किसानों और सरकार के बीच आज सातवें दौर की वार्ता होनी है। सरकार के साथ इस बातचीत के लिए किसान नेता विज्ञान भवन के लिए रवाना हो गए हैं। बता दें कि अब से कुछ देर बाद यानी दोपहर 2 बजे विज्ञान भवन में बातचीत शुरू होगी।
चर्चा करेंगे।