राजस्थान में झुंझुनू जिले के मुकुन्दगढ़ थाना क्षेत्र के बलरिया अंडरपास के पास कार में जिंदा जला युवक सेना का जवान नहीं बल्कि कोई और था। इस बात का खुलासा तब हुआ जब सोमवार सुबह सेना के जवान विकास को पुलिस गंभीर हालात में झुंझुनूं के राजकीय बीडीके अस्पताल लेकर पहुंची। पुलिस के अनुसार विकास ने जहरीला पदार्थ खाया था, जहां इलाज के दौरान उसकी मौत हो गई। जिस दिन हादसा हुआ, तब से ही डूंडलोद निवासी महेश मेघवाल गायब था। वह विकास फौजी के खेत में काम करता था।
महेश के परिजनों का दावा था कि कार में विकास नहीं बल्कि महेश था। परिजनों की शिकायत के बाद पुलिस जांच में जुट गयी है। सूत्रों के अनुसार शुक्रवार को विकास फौजी ने अपने ममेरे भाई को फोन कर रुपये मांगे थे। इससे यह साबित हो गया कि वह जिंदा है और कार में जिसका शव जलाया गया था, वह महेश मेघवाल का है। जलाने से पहले ही उसकी हत्या कर दी गयी थी। बाद में इसे हादसे का रूप देने का प्रयास किया गया।
पुलिस सूत्रों के अनुसार विकास फौजी को शनिवार को पकड़ लिया था। इस बीच विकास ने जहर खा लिया। विकास को मुकुंदगढ़ में अस्पताल में भर्ती करवाया गया, जहां से हालात गंभीर होने पर विकास को आज सुबह ही झुंझुनू के राजकीय बीडीके अस्पताल लेकर पहुंची थी, जहां विकास ने इलाज के दौरान दम तोड़ दिया। सूत्रों के अनुसार डेढ़ करोड़ की बीमा पॉलिसी का दावा उठाने के लिए विकास ने खुद की मौत का षड्यंत्र रचा था। सूत्रों के अनुसार पुलिस ने विकास को पकड़ लिया था। मामले का खुलासा करने वाली थी, लेकिन उससे पहले ही उसने जहर खा लिया। जहर कब खाया इसका अभी तक पता नहीं चल पाया है।
गौरतलब है कि होली की रात करीब 10 बजे फौजी विकास भास्कर अपने चचेरे भाई रमेश उफर् सोनू को साथ लेकर ड्यूटी पर जाने के लिये रवाना हुआ था। रास्ते में सोनू को ठेके पर छोड़कर साबुन लाने वापस डूंडलोद गया था। डूंडलोद से लौटते समय अंडरपास के पास कार में आग लग गई। इसमें विकास की मौत होने का दावा किया गया। परिजनों ने कार में मिले शव को विकास का मानते हुये अंतिम संस्कार भी कर दिया, लेकिन इसी दिन डूंडलोद का एक युवक महेश मेघवाल भी गायब हुआ। महेश विकास फौजी के खेत में मजदूरी करता था। महेश के परिजनों ने दावा किया था कि कार में महेश था। इसके बाद पुलिस ने नये सिरे से जांच की और मामले का पर्दाफाश किया।