समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता स्वामी प्रसाद मौर्य एक बार फिर अपने हिंदू विरोधी बयान को लेकर विवादों में घिर गए हैं। दरअसल स्वामी प्रसाद ने हाल ही में अपने एक बयान में हिंदू धर्म को धोखा बताया था। मौर्य के इस बयान के बाद से चारों तरफ उनकी निंदा हो रही है। वहीं, अयोध्या के साधु-संतों में काफी आक्रोश देखने को मिल रहा है। इसी के चलते पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि स्वामी प्रसाद बौखला गए हैं। वहीं, सपा नेता के बयान से नाराज महाराज परमहंस राजू दास अखिलेश यादव से मिलने पहुंचे।
सपा नेता के बयान पर राम जन्मभूमि के मुख्य पुजारी आचार्य सत्येंद्र दास ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य बौखला गए हैं। उनको बोलने का ज्ञान नहीं है। स्वामी प्रसाद मौर्य उटपटांग बोलते हैं। वहीं, स्वामी प्रसाद मौर्य के लगातार हिन्दू धर्म विरोधी विवादित बयानों से नाराज़ महराज परमहंस राजू दास अखिलेश यादव से मिलने उनके आवास पर पहुंचे। जहां उन्होंने अखिलेश यादव से स्वामी प्रसाद मौर्य के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है। इसी दौरान उन्होंने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य अपनी पार्टी बनाने में लगे हैं। हनुमानगढ़ी के पुजारी राजू दास ने मौर्य के बयान को दुर्भाग्यपूर्ण बताते हुए कहा कि सपा नेता का बयान हिंदुओं को बांटने की साजिश है।
वहीं, जगतगुरु राम दिनेशाचार्य आचार्य ने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य जैसे लोग भारतीय परंपरा के ताने बाने को मिटाना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि स्वामी प्रसाद मौर्य का किसी एक जाति पर टिप्पणी करना ओछी मानसिकता को दर्शाता है। उन्होंने मांग की कि ऐसे लोगों के खिलाफ सख्त से सख्त कार्रवाई होनी चाहिए।
बता दें कि सपा नेता स्वामी प्रसाद मौर्य ने बीते दिन ब्राह्मण समाज (Brahmin society) को लेकर ट्वीट करते हुए लिखा था कि ब्राह्मणवाद की जड़ें बहुत गहरी है और सारी विषमता का कारण भी ब्राह्मणवाद ही है। हिंदू नाम का कोई धर्म है ही नहीं, हिंदू धर्म केवल धोखा है। सही मायने में जो ब्राह्मण धर्म है, उसी ब्राह्मण धर्म को हिंदू धर्म कहकर के इस देश के दलितों, आदिवासियों, पिछड़ों को अपने धर्म के मकड़जाल में फंसाने की एक साजिश है। अगर हिंदू धर्म होता तो आदिवासियों का भी सम्मान होता, दलितों का भी सम्मान होता, पिछड़ों का भी सम्मान होता, लेकिन क्या विडंबना है। उनके इसी बयान को लेकर अब साधु-संतों में आक्रोश देखने को मिल रहा है।