हिमाचल में 7 महीने में हुए 93 दवाओं के सैंपल फेल
सोलन (पाल): देश की सबसे बड़े फार्मा हब बी.बी.एन. सहित प्रदेश में बन रही दवाओं की गुणवत्ता कटघरे में खड़ी हो गई है। हिमाचल में पिछले 11 महीनों में जहां 5 नकली दवा बनाने वाले उद्योगों का पर्दाफाश हुआ है वहीं 6 महीने में 93 दवाओं के सैंपल फेल हो चुके हैं। नकली दवा के मामले में ड्रग विभाग की जांच भी कटघरे में खड़ी हो गई है। 2 मार्च को वाराणसी में पकड़ी गई 7 करोड़ रुपए की दवाओं के मामले बद्दी में ड्रग विभाग ने जून माह में दवा उद्योग की एम.डी. को गिरफ्तार तो किया लेकिन दो आरोपी अभी भी उनकी गिरफ्त से बाहर हैं। अभी यह जांच पूरी भी नहीं हुई थी कि ड्रग विभाग ने बद्दी के काठा में रविवार को एक नकली दवाई बनाने वाली कंपनी का भंडाफोड़ किया है। यह कंपनी मैनकाइंड व इंटास फार्मा की नकली दवाएं बना रही थी। विभाग ने इस फार्मा उद्योग को सीज कर मौके से करीब 50 लाख रुपए की दवाओं को जब्त किया है।
सितम्बर 2022 के बाद नकली दवाओं के मामले आने शुरू हो गए। ड्रग विभाग ने पहले मामले में बद्दी की थाना पंचायत के धर्मपुर गांव में बिना ड्रग लाइसैंस के नकली दवाएं बनाने वाले उद्योग को सील दिया। कंपनी के पास फूड लाइसैंस था। दूसरा मामला 23 सितम्बर को सामने आया। बद्दी के थाना गांव में स्थित एक कंपनी में नकली दवाएं भारी मात्रा में पकड़ी गईं। इसके पास भी फूड लाइसैंस था। यह उद्योग नामी कंपनियों के नाम पर नकली दवाएं बना रहा था।
ड्रग विभाग ने 22 नवम्बर को बद्दी में नकली दवाएं बनाने वाले एक उद्योग को सील किया। उद्योग विभाग के प्लाट में स्थापित इस उद्योग का रिकॉर्ड न उद्योग के पास था और न ही ड्रग विभाग के पास। इसमें नामी कंपनियों के नाम पर नकली दवाएं बनाई जा रही थीं। छापेमारी के दौरान करोड़ों रुपए की दवाएं बरामद हुई थीं। इसके बाद जून में एक नकली दवा बनाने वाले उद्योग को पकड़ा। हालांकि इसका खुलासा 2 मार्च को वाराणसी में हो गया था क्योंकि जो दवाएं वहां पर बरामद हुई थीं उनका उत्पादन बद्दी में हुआ था।
इसी तरह पिछले 6 महीने में ही प्रदेश में बनी 93 दवाओं के सैंपल फेल हुए हैं। देश में कुल 292 दवाओं के सैंपल फेल हुए हंै। इसमें करीब 30 फीसदी दवाएं हिमाचल की हैं। यही वजह है कि स्वास्थ्य मंत्री कर्नल धनीराम शांडिल ने प्रदेश में दवाओं के फेल हो रहे सैंपलों का कड़ा संज्ञान लिया है। उन्होंने उन फार्मा उद्योगों को कड़ी चेतावनी दी है जिन उद्योगों के बार-बार सैंपल फेल हो रहे हैं। उन उद्योगों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की जाएगी।