सब्जी की ग्रेवी बनाने के लिए ज्यादातर लोग प्याज का इस्तेमाल करते हैं। प्याज खाने वाले लोगों को बिना प्याज की ग्रेवी में स्वाद नहीं आता है। प्याज का सेवन करने से व्यक्ति को सिर्फ टेस्ट ही नही मिलता बल्कि सेहत से जुड़े कई फायदे भी होते हैं। प्याज विटामिन और खनिजों से भरा होने के साथ कैलोरी में भी कम होता है। प्याज के फायदे और सब्जी में इस्तेमाल करने के तरीके से तो आप वाकिफ होंगे ही लेकिन क्या आप ग्रेवी के लिए प्याज का इस्तेमाल करते समय उसे पकाने के सही तरीके के बारे में भी जानते हैं। क्या वाकई आपको प्याज को पकाने का सही तरीका मालूम है? आइए जानते हैं।
प्याज पकाने का ये है सही तरीका-
सेहत के लिए प्याज के बेनिफिट्स लेने के लिए कभी भी कटे हुए प्याज को तेज आंच पर न पकाएं। तेज आंच पर प्याज पकाने से इसमें मौजूद सभी पोषक तत्व तुरंत खत्म हो जाते हैं। प्याज पकाने के लिए सबसे पहले पैन को गर्म करें। उसके बाद ही प्याज को उसमें भूनें। इसके अलावा आप जिस फ्राइंग पैन का इस्तेमाल प्याज भूनने के लिए कर रही हैं सुनिश्चित करें कि उसका तला बहुत पतला न हो वरना वो प्याज को जला देगा। प्याज भूनने के बाद एक मध्यम आंच पर पैन की हल्की ऑयलिंग करके प्याज को एक चुटकी नमक के साथ मिलाएं।
प्याज को नमक के साथ भाप के साथ पकाएं-
नमक के साथ किसी चीज को पकाने से वो चीज बहुत जल्दी पानी छोड़ देती है। जिसकी वजह से वो आसानी से पक जाते हैं। प्याज को भी नमक के साथ पकाने पर वो भूरे रंग के होकर पक जाएंगे। गर्मी और नमक प्याज से नमी को बाहर निकाल देंगे।
प्याज को कभी भी पूरा न पकाएं-
प्याज को भूनते समय इस बात का ध्यान हमेशा रखें कि उसे कभी भी पूरा नहीं पकाएं। प्याज हमेशा अधपका रखना चाहिए। ऐसा खाने में स्वाद के साथ सेहत को भी बनाए रखने में मदद करता है। प्याज को हमेशा मध्यम आंच पर पकने के लिए रखें, लेकिन ऐसा करते समय ध्यान रखें कि प्याज पूरा भूरा न हो जाए। थोड़ी देर बाद प्याज हल्का सुनहरा होने के साथ कारमेल सुगंध भी देना शुरू कर देगा।
सही तरह से प्याज पकाने से मिलते हैं ये फायदे-
कोलेस्ट्रॉल लेवल करें कम-
प्याज में मौजूद एंटीऑक्सिडेंट और यौगिक गुण शरीर में आ रही सूजन से लड़ते हैं। ये ट्राइग्लिसराइड्स को कम करके कोलेस्ट्रॉल लेवल को कम करने में मदद करते हैं। इस तरह पका हुआ प्याज दिल के स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद होता है। इसमें मौजूद शक्तिशाली एंटी-इंफ्लेमेटरी गुण हाई बीपी को कम करके और खून के थक्कों से बचाने में भी मदद कर सकते हैं।
हाई ब्लड प्रेशर को रखता है कंट्रोल-
प्याज के पानी में क्वेरसेटिन नामक एक फ्लेवोनॉइड एंटीऑक्सिडेंट होते हैं, जो उच्च रक्तचाप को कम करके हृदय रोग के जोखिम को भी कम करने में मदद करते हैं। उच्च रक्तचाप वाले लोगों के एक अध्ययन में पाया गया कि क्वेरसेटिन युक्त प्याज के 162 मिलीग्राम प्रति दिन की खुराक ने सिस्टोलिक रक्तचाप को प्लेसीबो की तुलना में 3-6 mmHg तक कम कर दिया।
फाइबर से भरपूर-
प्याज फाइबर और प्री-बायोटिक्स का एक बड़ा स्रोत है, जो आंत के स्वास्थ्य के लिए जरूरी है। एक ऐसी डाइट जो प्री-बायोटिक्स से भरपूर होती है, शरीर को कैल्शियम के अवशोषण में सुधार करने में मदद करती है जो हड्डियों के लिए बहुत अच्छी है।
डिप्रेशन से लड़ने में करता है मदद-
प्याज डिप्रेशन के संकेतों से लड़ने और नींद को प्रेरित करने में मदद करता है। इसके अलावा, फोलेट की उपस्थिति पेट की बीमारियों को ठीक करने और भूख में सुधार करने में मदद करती है।