हरियाणा के विवादास्पद पुलिस महानिरीक्षक (आईजीपी) हेमंत कलसन को पंचकूला जिले के पिंजौर कस्बे में एक विकलांग दुकानदार के साथ मारपीट करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। उन्हें शुक्रवार को पिंजौर की एक अदालत में पेश किया गया, जहां से उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया।
हाल ही में एक अन्य घटना में पुलिस महानिरीक्षक कलसन पर पंचकूला के सेक्टर-6 स्थित सिविल अस्पताल में एक नर्स के साथ कथित रूप से दुर्व्यवहार करने का मामला दर्ज किया गया था। उस समय भी यह आरोप लगाया गया था कि कलसन नशे में थे।
आधिकारिक बयान में एक सरकारी आदेश के हवाले से कहा गया कि हरियाणा सरकार ने महानिरीक्षक (होमगार्ड) कलसन को अपनी आधिकारिक शक्ति का दुरुपयोग करने, विभाग की छवि खराब करने, गंभीर कदाचार का व्यवहार करने के कारण तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है।
पुलिस ने कहा कि गुरुवार रात पिंजौर में हुई घटना के बाद मेडिकल जांच के दौरान कलसन को अत्यधिक नशे की हालत में पाया गया। पुलिस ने बताया कि कलसन को यहां से करीब 30 किलोमीटर दूर पिंजौर में एक शारीरिक रूप से अक्षम दुकानदार के साथ नशे की हालत में उसकी दुकान में जबरन घुसकर मारपीट करने के आरोप में गिरफ्तार किया गया है।
कलसन को पिंजौर पुलिस ने गुरुवार की रात एक विकलांग दुकानदार के साथ मारपीट करने के आरोप में गिरफ्तार किया था। उसके बाद, उनकी मेडिकल जांच कराई गई जिसमें वह अत्यधिक नशे की हालत में पाए गए। उन्होंने पुलिस स्टेशन के लॉकअप में रात बिताई। उन्होंने पंचकूला के पुलिस कमिश्नर हनीफ कुरैशी ने फोन पर कहा कि पिंजौर में न्यायिक मजिस्ट्रेट की अदालत में पेश किया गया और अदालत ने उन्हें 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।
कुरैशी ने कहा कि उनके खिलाफ आईपीसी की धारा 452 (घर में घुसने), 323 (स्वेच्छा से चोट पहुंचाने की सजा) और 506 (आपराधिक धमकी) के तहत मामला दर्ज किया गया है।
कलसन के निलंबन आदेश के अनुसार, निलंबन अवधि के दौरान उनका मुख्यालय डीजीपी, हरियाणा, पंचकूला के कार्यालय में होगा और वह सक्षम प्राधिकारी की पूर्व अनुमति के बिना स्टेशन नहीं छोड़ेंगे। यह पहली बार नहीं है जब कलसन को शक्ति का दुरुपयोग करते पाया गया है। अप्रैल 2019 में, उन्हें तमिलनाडु में चुनाव ड्यूटी के दौरान बिना किसी वैध स्पष्टीकरण के हवा में फायरिंग के लिए निलंबित कर दिया गया था।