भलस्वा लैंडफिल साइट पर लगी आग पर पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने सख्त रुख अपनाया है। उन्होंने उत्तरी निगम पर 50 लाख रुपये का जुर्माना लगाने के निर्देश दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति को दिए हैं। साथ ही कूड़े के पहाड़ ऊपर स्थायी रूप से टैंकर स्टेशन बनाने के भी निर्देश दिए गए हैं।
उत्तरी निगम द्वारा संचालित भलस्वा लैंडफिल साइट पर दो दिन पहले भयंकर आग लगी थी। पर्यावरण मंत्री ने डीपीसीसी को लैंडफिल साइट की आग को लेकर जांच करने और 24 घंटे के बीच रिपोर्ट सौंपने के निर्देश दिए थे। रिपोर्ट आने के बाद पर्यावरण मंत्री ने उत्तरी निगम पर 50 लाख का जुर्माना लगाने के निर्देश दिए हैं। रिपोर्ट में पाई कमियों के आधार पर उत्तरी निगम को कूड़े के पहाड़ पर स्थायी रूप से टैंकर स्टेशन बनाने, सुगम परिवहन के लिए पेरीफेरल सड़क का निर्माण करने, फील्ड स्टाफ की संख्या में बढ़ोतरी करने के निर्देश दिए हैं।
समाधान के लिए दो मई को मुंबई जाएगी टीम
इससे पहले गाजीपुर लैंडफिल साइट की आग मामले में भी डीपीसीसी की ओर से पूर्वी निगम पर 50 लाख का जुर्माना लगाया गया था, जबकि कचरे के पहाड़ पर लगने वाली आग के स्थायी समाधान के लिए मुंबई में अपनाई जा रही तकनीक पर काम करने का फैसला लिया जा चुका है। इस संबंध में डीपीसीसी, पूर्वी दिल्ली और उत्तरी निगम की संयुक्त टीम 2 मई को मुंबई जाएगी। यह टीम मुंबई के डंपिंग स्थल में लगे गैस सकिंग सिस्टम के बारे में जानकारी लेगी।
लापरवाही से विकराल हुई आग
पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि उत्तरी निगम की लापरवाही के चलते ही भलस्वा लैंडफिल साइट की आग विकराल हो गई। डीपीसीसी की रिपोर्ट में बताया गया है कि 26 अप्रैल को आग लगनी शुरू हुई और निगम की लापरवाही और पानी के टैंकर की समुचित व्यवस्था न होने के चलते लगभग एक एकड़ का क्षेत्र आग की चपेट में आ गया।