दिल्ली पुलिस ने सोमवार को कहा कि दंगा प्रभावित जहांगीरपुरी में सुरक्षा उपायों की समीक्षा की जा रही है और मौजूदा स्थिति के अनुसार बलों की और तैनाती पर फैसला किया जाएगा। 16 अप्रैल की हिंसा का केंद्र रहे जहांगीरपुरी के सी ब्लॉक में अब सामान्य स्थिति में लौटने की अपील करते हुए हिंदुओं और मुसलमानों ने रविवार को यहां एक तिरंगा यात्रा निकाली और शांति और सद्भाव का संदेश दिया था।
दिल्ली पुलिस ने इस रैली को सुगम बनाने के लिए इलाके में भारी सुरक्षा तैनात की थी। पुलिस ने दोनों समुदायों के लगभग 50 लोगों को रैली में भाग लेने की अनुमति दी थी।
तिरंगा यात्रा के एक दिन बाद पुलिस उपायुक्त (उत्तर-पश्चिम) उषा रंगनानी ने कहा कि मौजूदा स्थिति के आधार पर सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा की जा रही है और उसके अनुसार ही हम एक निर्णय लेंगे और आवश्यक व्यवस्था की जाएगी। उन्होंने कहा कि फिलहाल इलाके में उपयुक्त और पर्याप्त संख्या में सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए हैं।
पुलिस ने कहा कि उत्तर-पश्चिमी दिल्ली के जहांगीरपुरी के हिंसा प्रभावित इलाकों में दंगा विरोधी बल सहित बड़ी संख्या में सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया गया है।
एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, क्षेत्र में चौबीसों घंटे 500 से अधिक पुलिस कर्मियों और अतिरिक्त बल की छह कंपनियों को तैनात किया गया है। अधिकारी ने कहा कि कुल 80 आंसू गैस गन पार्टी और वाटर कैनन तैनात किए गए हैं। संवेदनशील इलाकों में छत पर निगरानी के लिए ड्रोन का भी इस्तेमाल किया जा रहा है। किसी भी अप्रिय घटना से बचने के लिए सभी वरिष्ठ अधिकारियों को मौके पर मौजूद रहने का निर्देश दिया गया है। पुलिस के मुताबिक, जहांगीरपुरी के अलावा अन्य संवेदनशील इलाकों में भी पर्याप्त बल तैनात किया गया है।
गौरतलब है कि 16 अप्रैल को जहांगीरपुरी में हनुमान जयंती की शोभायात्रा के दौरान दो समुदायों के बीच झड़प हो गई थी, जिसमें आठ पुलिसकर्मी और एक स्थानीय निवासी घायल हो गए थे। पुलिस के अनुसार, दो समुदायों के बीच झड़प के दौरान पथराव और आगजनी हुई थी। कुछ वाहनों को भी आग के हवाले कर दिया गया। 17 अप्रैल से सी ब्लॉक में भारी पुलिस बल तैनात है।