दिल्ली हाईकोर्ट (Delhi High Court) ने दो नवंबर 2019 को तीस हजारी कोर्ट परिसर में वकीलों और दिल्ली पुलिस के बीच हुई झड़प के संबंध में जांच पूरी करने के लिए अपने न्यायिक आयोग की अवधि मंगलवार को 31 जुलाई 2022 तक बढ़ा दी है।
चीफ जस्टिस डी.एन. पटेल और जस्टिस ज्योति सिंह की बेंच ने कहा कि उसे अदालत द्वारा गठित आयोग के अध्यक्ष न्यायमूर्ति (सेवानिवृत्त) एस.पी. गर्ग का 18 दिसंबर, 2021 को लिखा एक पत्र मिला, जिसमें सभी गवाहों से पूछताछ की प्रक्रिया पूरी करने के लिए और समय मांगा गया है। अदालत ने इस पर गौर किया कि आयोग ने कई गवाहों से पूछताछ कर ली है और कुछ लोगों से पूछताछ अभी बाकी है।
बेंच ने कहा कि जिन गवाहों से पूछताछ की जा चुकी है, उनकी संख्या और दिल्ली में कोविड-19 संबंधी मौजूदा स्थिति के मद्देनजर आयोग को गवाहों से पूछताछ करने के लिए और समय देना उचित है। हम आयोग को अपनी रिपोर्ट दाखिल करने के लिए और समय देते हैं। यह रिपोर्ट 31 जुलाई तक दाखिल हो जानी चाहिए। इस मामले को आठ अगस्त के लिए सूचीबद्ध कीजिए। आयोग द्वारा 2020 में दाखिल की गई रिपोर्ट के अनुसार, उसने तब तक 124 गवाहों से पूछताछ कर ली थी।
गौरतलब है कि तीस हजारी अदालत परिसर में वाहनों की पार्किंग को लेकर ड्यूटी पर तैनात एक पुलिसकर्मी और एक वकील के बीच दो नवंबर, 2019 को एक विवाद हो गया था, जिसके कारण दोनों पक्षों के समर्थकों के बीच झड़प शुरू हो गई थी। इस झड़प में 20 पुलिसकर्मी और कई वकील घायल हो गए थे।
अदालत ने अपने अंतरिम आदेश में कहा था कि न्यायिक जांच पूरी होने तक इस मामले में वकीलों के खिलाफ दर्ज एफआईआर के संबंध में उनके खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। इसी प्रकार का आदेश उन दो पुलिस कर्मियों के पक्ष में पारित किया गया था, जिनके खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई थी।