हरियाणा सरकार ने 28 अगस्त के पुलिस लाठीचार्ज को लेकर किसानों की महापंचायत और मिनी सचिवालय के घेराव की योजना के एक दिन पहले सोशल मीडिया के जरिए “गलत सूचना और अफवाहों के प्रसार पर काबू के लिए करनाल जिले में मोबाइल इंटरनेट सेवाओं को निलंबित करने का सोमवार को आदेश दिया। आदेश के अनुसार, करनाल जिले में मोबाइल इंटरनेट सेवाएं सोमवार दोपहर 12:30 बजे से लेकर मंगलवार मध्यरात्रि तक बंद रहेंगी।
करनाल के डीएम ने कहा कि वो किसानों को हाईवे और मिनी सचिवालय का घेराव नहीं करने देंगे। किसानों पर 28 अगस्त को हुए पुलिस लाठीचार्ज के खिलाफ करनाल में मंगलवार को ‘लघु सचिवालय का घेराव करने के कार्यक्रम से एक दिन पहले प्रशासन ने जिले में सोमवार को लोगों के इकट्ठा होने पर प्रतिबंध लगा दिया। किसानों पर 28 अगस्त को हुए पुलिस लाठीचार्ज के खिलाफ करनाल में मंगलवार को लघु सचिवालय का घेराव करने के कार्यक्रम से एक दिन पहले प्रशासन ने जिले में सोमवार को लोगों के इकट्ठा होने पर प्रतिबंध लगा दिया।
जिला प्रशासन के साथ बातचीत रही विफल
करनाल जिला प्रशासन से वार्ता विफल होने के बाद भारतीय किसान संघ की हरियाणा इकाई ने कहा कि वे 7 सितंबर को किसान महापंचायत के साथ-साथ मिनी सचिवालय के नियोजित घेराव को आगे बढ़ाएंगे। इस बीच, करनाल के डीएम निशांत कुमार यादव ने कहा कि किसानों की मांग जायज नहीं है। डीएम ने कहा कि कानून का उल्लंघन करने वालों को कोई मुआवजा नहीं दिया जाएगा और हमारे अधिकारी के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की जाएगी। हम उन्हें राजमार्ग और मिनी सचिवालय का घेराव नहीं करने देंगे।
इलाके में धारा 144 लागू
अधिकारियों ने बताया कि जिला प्रशासन ने दण्ड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 144 के तहत निषेधाज्ञा लागू कर पांच या उससे अधिक लोगों के एकत्रित होने पर प्रतिबंध लगा दिया। हरियाणा पुलिस द्वारा जारी एक परामर्श अनुसार, मुख्य राष्ट्रीय राजमार्ग संख्या 44 (अंबाला-दिल्ली) पर गलवार को करनाल जिले में कुछ यातायात व्यवधान हो सकता है। इसलिए, एनएच-44 का उपयोग करने वाले लोगों को सलाह दी गई है कि वे करनाल शहर की यात्रा करने से बचें या सात सितंबर को अपने गंतव्य तक जाने के लिए वैकल्पिक रास्तों का उपयोग करें।
पुलिस भी मुस्तैद
अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) नवदीप सिंह विर्क ने कहा कि लघु सचिवालय के घेराव के आह्वान को देखते हुए व्यापक सुरक्षा प्रबंध किए गए हैं। उन्होंने कहा कि इन व्यवस्थाओं का प्राथमिक मकसद शांति व्यवस्था कायम रखना, किसी भी तरह की हिंसा को रोकना, यातायात और सार्वजनिक परिवहन प्रणाली के कामकाज को सुगम बनाना तथा पूरे राज्य में, खासकर करनाल में सरकारी संपत्ति की सुरक्षा करना है।