तृणमूल कांग्रेस जल्द ही राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद से सॉलिसीटरसॉलिसीटर जनरल तुषार मेहता को बर्खास्त करने का अनुरोध करेगी जिन्होंने पश्चिम बंगाल में विपक्षी दल के नेता शुभेंदु अधिकारी से कथित तौर पर मुलाकात की थी।
राज्यसभा में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के उप नेता सुखेंदु शेखर रॉय ने संवाददाता सम्मेलन में कहा कि पार्टी का प्रतिनिधिमंडल सोमवार को 12:30 बजे राष्ट्रपति ने मिलकर इस मुलाकात के बारे में उनसे चर्चा करेगा और उन्हें एक ज्ञापन भी सौंपेगा। रॉय ने कहा कि राज्य में राज्यपाल के मुद्दे को इस चर्चा में शामिल नहीं किया जाएगा।
उन्होंने कहा कि क्या एक आरोपी व्यक्ति सॉलिसीटर जनरल के घर बिना किसी उद्देश्य के जा सकता है। क्या तुषार मेहता ऐसे आरोपियों को अपने घर में चाय पर बुला सकते हैं। तृणमूल ने प्रधानमंत्री को पहले ही पत्र लिखकर मेहता को सॉलिसीटर जनरल के पद से हटाने की मांग की थी। पार्टी ने पत्र में लिखा कि शुभेंदू अधिकारी नारद और सारदा चिटफंड घोटाले में आरोपी हैं। इसलिए इन्हें संवैधानिक पदों पर न बैठाया जाए।
गौरतलब है कि सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने पश्विम बंगाल के नेता प्रतिपक्ष शुभेंदु अधिकारी से मुलाकात से इंकार कर दिया था। इससे पहले दोनों की नई दिल्ली में गुरुवार की तथाकथित मुलाकात पर खासा राजनीतिक हंगामा मचा था। टीएमसी के तीन नेताओं ने प्रधानमंत्री को पत्र लिखकर तुषार मेहता को सॉलिसिटर जनरल के पद से हटाने की मांग भी की थी।
शुभेंदु अधिकारी से मुलाकात को लेकर शुक्रवार को तुषार मेहता ने स्पष्टीकरण दिया। उन्होंने कहा कि शुभेंदु अधिकारी गुरुवार अपराह्न तीन बजे उनसे मिलने उनके आवास पर जरूर आये थे। लेकिन उस वक्त वह अपने चैम्बर में दूसरी बैठक में अपने कर्मचारियों के साथ व्यस्त थे। इसलिए उन्होंने श्री अधिकारी को इंतजार करने के लिए बोला। सॉलिसिटर जनरल के मुताबिक जब हमारी मीटिंग खत्म हुई और मुझे उनके बारे में बताया गया तो मैंने अपने निजी सचिव के माध्यम से उनसे मिलने में असमर्थता व्यक्त कर दी। उसके बाद वह हमारे यहां से चले गये।
गौरतलब है कि तुषार मेहता का यह स्पष्टीकरण तृणमूल कांग्रेस के तीन सांसदों द्वारा प्रधानमंत्री को लिखे उस पत्र के बाद आया है, जिसमें उन सांसदों ने श्री मेहता को सॉलिसिटर जनरल के पद से हटाने की मांग की है। तृणमूल सांसदों ने अपने पत्र में लिखा है कि शुभेंदु अधिकारी नारदा स्टिंग मामले के अलावा विभिन्न धोखाधड़ी और आपराधिक मामलों में आरोपी हैं। नारदा स्टिंग मामले में उनके खिलाफ केंद्रीय जांच ब्यूरो की जांच चल रही है, ऐसे में सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता से उनका मिलना अनुचित है।