लोनी बार्डर कोतवाल विश्वजीत सिंह को सोमवार की शाम एक बार फिर निलंबित किया गया है। पुलिस उपमहानिरीक्षक अमित पाठक ने इस बार उन्हें डेढ़ लाख रुपये लेकर एक आरोपी को थाने से छोड़ने के आरोप में निलंबित किया है। करीब सात आठ साल पहले लोनी थाने में कोतवाल रहते हुए भी उन्हें गैस सिलेंडरों की अवैध रिफिलिंग कराने के मामले में निलंबित किया गया था।
पुलिस उपमहानिरीक्षक अमित पाठक ने बताया कि लोनी बार्डर कोतवाल विश्वजीत के खिलाफ करीब दस दिन पहले शिकायत आई थी। बताया गया था कि एक आरोपी को उन्होंने पकड़ा, लेकिन डेढ़ लाख रुपये लेकर उसे थाने से ही छोड़ दिया। मामला संज्ञान में आने के बाद उन्होंने पुलिस अधीक्षक ग्रामीण डॉ. ईरज राजा से मामले की जांच कराई और इसी जांच रिपोर्ट के अधार पर सोमवार की शाम को उन्हें निलंबित कर दिया है।
गौरतलब है कि इंस्पेक्टर विश्वजीत करीब सात आठ साल पहले लोनी थाने के कोतवाल थे। उस समय भी उनके ऊपर भ्रष्टाचार के आरोप लगे थे। इन आरोपों के चलते तत्कालीन वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक ने उन्हें निलंबित कर दिया था। हालांकि विश्वजीत ने जुगाड़ लगाकर जल्दी ही अपनी बहाली करा ली और यहां से स्थानांतरण कराकर एसटीएफ चले गए थे। लेकिन एसटीएफ से वापस लौट कर एक बार फिर इन्होंने अपने जुगाड़ के दम पर लोनी बार्डर में चार्ज ले लिया। जहां से सोमवार की शाम को एक बार फिर उन्हें निलंबन का मुंह देखना पड़ा है।