यूपी आतंकवाद निरोधक दस्ता (यूपी एटीएस) ने रोहिंग्या मुसलमानों की तलाश में बुधवार को एक साथ कई जिलों में छापेमारी की। संतकबीरनगर स्थित खलीलाबाद, बस्ती और अलीगढ़ समेत में संदिग्धों की तलाश में कार्रवाई चल रही है। बताया जाता है कि आधा दर्जन संदिग्धों को पकड़ा गया है। एटीएस यूपी में टेरर फंडिंग के नेटवर्क की भी तलाश कर रही है। यूपी एटीएस इस मामले में शाम तक बड़ा खुलासा कर सकती है।
यूपी एटीएस ने संतकबीरनगर जिले के खलीलाबाद ब्लॉक में तैनात जेई अब्दुल मन्नान को हिरासत में लिया है। इसके अलावा करीब आधा दर्जन से ज्यादा संदिग्ध लोगों को एटीएस की टीम ने हिरासत में लिया है। खुफिया एजेंसी के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार इन सब के पास फर्जी दस्तावेज और टेरर फंडिंग करने का आरोप पाया गया है।
29 दिसंबर को टेरर फंडिंग, हवाला और देश विरोधी तत्वों के संपर्क में होने की जांच कर रही एटीएस ने गोरखपुर में गोलघर के बलदेव प्लाजा स्थित नईम एंड संस मोबाइल शाप समेत फर्म की दो दुकानों पर छापा मारा था। आठ घंटे से अधिक समय तक चली छानबीन व पूछताछ के बाद टीम दुकान में लगे कंप्यूटर की हार्ड डिस्क और अन्य दस्तावेज कब्जे में लिए थे। 2018 में भी यहां एटीएस की टीम ने छापा मारा था।
एटीएस ने 24 मार्च 2018 को टेरर फंडिंग, हवाला कारोबार और देश विरोधी तत्वों के संपर्क में होने के संदेह में मोबाइल फोन के थोक कारोबारी नईम एंड संस के मालिक नईम के बेटों नसीम अहमद तथा अरशद को हिरासत में लिया था। फर्म के तीन प्रतिष्ठानों से 50 लाख रुपये से अधिक नकदी बरामद कर तीनों प्रतिष्ठानों से कंप्यूटर, हार्ड डिस्क, पेन ड्राइव और अन्य दस्तावेज कब्जे में लिया था। इसके अलावा खोराबार और शाहपुर क्षेत्र से तीन अन्य लोग हिरासत में लिए गए थे।