राजधानी दिल्ली में हवा की गुणवत्ता मंगलवार को लगातार चौथे दिन भी ‘बहुत खराब’ श्रेणी में बनी रही। केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (CPCB) के अनुसार, आज दिल्ली में प्रति घंटा औसत AQI 371 था। आईटीओ, कॉमनवेल्थ गेम्स विलेज और प्रगति मैदान के आसपास के क्षेत्रों को सुबह-सवेरे भारी धुंध में छाई रही।
विशेषज्ञों के अनुसार, ‘बहुत खराब’ श्रेणी लोगों के स्वास्थ्य को प्रभावित करती है और मौजूदा बीमारियों से प्रभावित लोगों को गंभीर रूप से प्रभावित करती है।
मॉर्निंग वॉक पर निकले एक व्यक्ति ने कहा कि लोग रोज सुबह ताजी हवा में सांस लेने के लिए घरों से निकलते हैं, लेकिन दुर्भाग्य से पिछले कुछ दिनों में हवा की गुणवत्ता बहुत खराब हो गई है। पराली जलाना (Stubble Burning) प्रदूषण का मुख्य कारण है। कोई एक अकेला व्यक्ति इसके लिए जिम्मेदार नहीं है। हमें सामूहिक रूप से इसे कम करने की दिशा में काम करने की आवश्यकता है।
व्यक्ति ने कहा कि अगस्त में, वायु गुणवत्ता सूचकांक काफी अच्छा था। इन दो महीनों में स्थिति खराब से गंभीर हो गई है। उम्रदराज लोगों और छोटे बच्चों के लिए यह स्थिति और मुश्किल है।
बढ़ते वायु प्रदूषण से निपटने के लिए मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने पिछले हफ्ते “ग्रीन दिल्ली” ऐप लॉन्च किया था, जो लोगों को प्रदूषण विरोधी मानदंडों के उल्लंघन के बारे में शिकायत दर्ज करने में सक्षम बनाएगा।
उल्लेखनीय है कि 0 और 50 के बीच एक्यूआई को ‘अच्छा’, 51 और 100 के बीच ‘संतोषजनक’, 101 और 200 के बीच ‘मध्यम’, 201 और 300 के बीच ‘खराब’, 301 और 400 के बीच ‘बेहद खराब’ और 401 से 500 के बीच ‘गंभीर’ माना जाता है।