कोरोना वायरस के कहर के बीच आज यानी 1 अक्टूबर से देशभर में अनलॉक 5 की शुरुआत हो चुकी है। केन्द्रीय गृह मंत्रालय ने कंटेनमेंट जोन के बाहर के इलाकों में और गतिविधियों की अनुमति देने के वास्ते बुधवार को नए दिशा-निर्देश जारी किए। इनमें 15 अक्टूबर से सिनेमाघरों और मल्टीप्लेक्सों को उनकी बैठने की क्षमता के 50 प्रतिशत के साथ खोला जाना शामिल है। तो चलिए जानते हैं कि इस अनलॉक 5 में क्या-क्या छूट मिल रही हैं और क्या-क्या प्रतिबंध कामय रहेंगे।
1. राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों की सरकारों को चरणबद्ध तरीके से 15 अक्टूबर के बाद स्कूलों और कोचिंग संस्थानों को फिर से खोले जाने के बारे में निर्णय लेने की छूट दी गई है।
2. अनलॉक-5 में केन्द्र की अनुमति वाली यात्रा को छोड़कर अंतरराष्ट्रीय यात्रा पर अभी पाबंदियां जारी रहेंगी।
3. 15 अक्टूबर से कुछ गतिविधियों की अनुमति दी गई है, जिनमें सिनेमा, थियेटर और मल्टीप्लेक्सों को उनके बैठने की क्षमता के 50 प्रतिशत के साथ खोला जा सकता है और इसके लिए सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय द्वारा मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) जारी की जायेगी।
4. व्यवसाय से व्यवसाय (बी2बी) प्रदर्शनियों की अनुमति दी जाएगी और वाणिज्य विभाग द्वारा एसओपी जारी की जायेगी।
5. खिलाड़ियों के प्रशिक्षण के लिए उपयोग किए जा रहे स्विमिंग पूल को खोलने की अनुमति दी जाएगी, जिसके लिए एसओपी युवा मामलों और खेल मंत्रालय द्वारा जारी की जाएगी।
6. मनोरंजन पार्क और इसी तरह के स्थानों को 15 अक्टूबर से खोलने की अनुमति दी जाएगी। इस संबंध में एसओपी स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्रालय द्वारा जारी की जायेगी।
7. कोरोना वायरस महामारी से निपटने के लिए 25 मार्च से लगाये गये लॉकडाउन के बाद से ये सभी गतिविधियां बंद थी।
8. नए दिशा-निर्देशों में कहा गया है कि राज्यों और केन्द्र शासित प्रदेशों की सरकारों को निरूद्ध क्षेत्रों के बाहर 15 अक्टूबर के बाद 100 व्यक्तियों की सीमा तक सामाजिक, धार्मिक और राजनीतिक सभाओं को अनुमति दिये जाने की छूट दी गई है।
हालांकि, ये कुछ शर्तों के अधीन होंगे जैसे 200 लोगों की क्षमता वाले हॉल में अधिकतम 50 प्रतिशत को अनुमति होगी और मास्क पहनना अनिवार्य होगा
9. स्कूलों और कोचिंग संस्थानों को फिर से खोलने के लिए, राज्य और केंद्र शासित प्रदेश की सरकारें 15 अक्टूबर के बाद क्रमबद्ध तरीके से ऐसा करने का निर्णय ले सकती हैं। स्थिति के आकलन के आधार पर संबंधित स्कूल और संस्थान प्रबंधन के साथ परामर्श करके निर्णय लिया जाएगा और यह कुछ शर्तों के अधीन होगा।
10. मंत्रालय ने कहा कि ऑनलाइन या दूरस्थ शिक्षा को शिक्षण के तरीके के रूप में प्राथमिकता दी जायेगी और इन्हें प्रोत्साहित किया जायेगा। स्कूल जहां ऑनलाइन कक्षाएं संचालित कर रहे हैं, अगर कुछ छात्र भौतिक रूप से उपस्थित होने के बजाय ऑनलाइन कक्षाओं में भाग लेना पसंद करते हैं, तो उन्हें ऐसा करने की अनुमति दी जा सकती है।
11. छात्र अभिभावकों की लिखित सहमति के बाद ही स्कूलों और संस्थानों में जा सकते हैं। केन्द्रीय शिक्षा मंत्रालय के स्कूल शिक्षा और साक्षरता विभाग द्वारा जारी एसओपी के आधार पर स्कूलों और संस्थानों को फिर से खोलने के लिए राज्य और केन्द्र शासित प्रदेश स्वास्थ्य और सुरक्षा सावधानियों के बारे में अपनी एसओपी तैयार करेंगे।
12. जिन स्कूलों को खोलने की अनुमति दी जाती है, उन्हें राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के शिक्षा विभागों द्वारा जारी की जाने वाली एसओपी का अनिवार्य रूप से पालन करना होगा।
13. मंत्रालय ने कहा कि शिक्षा मंत्रालय के तहत उच्च शिक्षा विभाग, कॉलेजों और उच्च शिक्षा संस्थानों के खुलने के समय पर स्थिति के आकलन के आधार पर गृह मंत्रालय से परामर्श कर निर्णय ले सकता है। हालांकि, विज्ञान और प्रौद्योगिकी विषय में पीएचडी और स्नातकोत्तर छात्रों के लिए उच्च शिक्षा संस्थानों को 15 अक्टूबर से खोलने की अनुमति होगी। विज्ञान और प्रौद्योगिकी में प्रयोगशाला और प्रायोगिक कार्यों की आवश्यकता होती है।
14. कंटेनमेंट जोन में 31 अक्टूबर तक लॉकडाउन सख्ती के साथ लागू रहेगा। गृह मंत्रालय ने दोहराया कि राज्य केन्द्र सरकार से चर्चा के बिना कंटेनमेंट जोन के बाहर कोई स्थानीय लॉकडाउन लागू नहीं करेंगे।
कोरोना वायरस से निपटने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 25 मार्च से देशव्यापी लॉकडाउन लगाये जाने की घोषणा की थी और इसे चरणबद्ध तरीके से 31 मई तक बढ़ाया गया था। देश में ‘अनलॉक’ प्रक्रिया की शुरूआत एक जून को हुई थी और चरणबद्ध तरीके से व्यापारिक, सामाजिक, धार्मिक और अन्य गतिविधियों को फिर से खोला गया।