दिल्ली दंगों के कथिततौर पर मुख्य साजिकर्ता पूर्व निगम पार्षद ताहिर हुसैन की जमानत याचिका पर एक बार फिर सुनवाई टल गई। लोक अभियोजक ने अदालत से जमानत याचिका पर जवाब देने के लिए समय दिए जाने की मांग की। जिसे अदालत ने मंजूर कर लिया।
अदालत ने अब इस मामले में अगली सुनवाई के लिए पांच अक्तूबर की तारीख तय की है।
कड़कड़डूमा स्थित अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश विनोद यादव की अदालत में विशेष लोक अभियोजक पेश हुए। उन्होंने अदालत को बताया कि जिला न्यायाधीश की तरफ से उन्हें दंगों से संबंधित मामलों में शिकायतकर्ताओं की तरफ से पैरवी करने के लिए विशेष नियुक्ति मिली है। क्योंकि उन्होंने अभी कार्यभार संभाला है। इसलिए इस मामले की फाइल को पढ़ने के लिए उन्हें कुछ समय दिया जाए, ताकि वह आरोपी की जमानत याचिका पर बहस की तैयारी कर सकें। अदालत ने इस पर सरकारी वकील की दलील को स्वीकार करते हुए जमानत याचिका पर सुनवाई को पांच अक्तूबर तक के लिए स्थगित कर दिया है।
दिल्ली पुलिस की स्पेशल सेल ने ताहिर हुसैन समेत 15 लोगों के खिलाफ हाल ही में अदालत में आरोपपत्र दाखिल किया है। इस आरोपपत्र में ताहिर हुसैन को मुख्य साजिशकर्ता माना गया है। जबकि अन्य लोगों को भी गैर कानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम के तहत आरोपी बनाया गया है। इन सभी पर आरोप है कि सुनियोजित साजिश के तहत उत्तर-पूर्वी दिल्ली में दंगोंं को अंजाम दिया गया। पहले से इसके लिए ज्यादा से ज्यादा नुकसान पहुंचाने के लिए घातक सामग्री खरीदी गई। इतना ही नहीं इस सब के लिए दूसरे देशों से इन आरोपियों के बैंक खातों में पैसा भी आया। हालांकि ताहिर हुसैन इस मुख्य मामले के अलावा दयालपुर थानाक्षेत्र में दर्ज अन्य दंगों के मामलों में भी आरोपी है। ताहिर हुसैन पर दंगों के लिए हथियारों का प्रबंध करने व लोगों केा भड़काने का गंभीर आरोप है